उत्तराखंड

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रवासी उत्तराखण्डी सम्मेलन का शुभारंभ किया, कहा—“प्रवासी उत्तराखण्डी देवभूमि के सच्चे ब्रांड एम्बेसडर हैं”

“मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्रवासी उत्तराखण्डी देवभूमि की संस्कृति और गौरव के सच्चे ब्रांड एम्बेसडर हैं, राज्य सरकार प्रवासियों के अनुभवों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए प्रतिबद्ध है।”

राज्य स्थापना के रजत जयंती वर्ष समारोह के अंतर्गत आज दून विश्वविद्यालय, देहरादून में आयोजित “प्रवासी उत्तराखण्डी सम्मेलन” का शुभारंभ मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने किया।
कार्यक्रम की शुरुआत प्रदेश में आई विभिन्न आपदाओं में जान गंवाने वाले लोगों की स्मृति में एक मिनट का मौन रखकर की गई।

मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि प्रवासी उत्तराखण्डी देवभूमि की संस्कृति, परंपराओं और मातृभूमि के गौरव को नई ऊंचाइयों तक पहुंचा रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रवासी उत्तराखण्डी जहां भी रहते हैं, अपने साथ देवभूमि की संस्कृति और अपनी मिट्टी की सुगंध लेकर चलते हैं।

मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य सरकार ने प्रवासी उत्तराखण्ड परिषद का गठन इसी उद्देश्य से किया है, ताकि उनके अनुभवों और सुझावों को राज्य के विकास की मुख्यधारा में जोड़ा जा सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश के अनेक प्रवासी अपने-अपने गांवों को गोद लेकर विकास में योगदान दे रहे हैं।


🌄 विकसित भारत, विकसित उत्तराखण्ड के लक्ष्य की दिशा में अग्रसर राज्य

मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में उत्तराखण्ड सरकार “विकसित भारत, विकसित उत्तराखण्ड” के लक्ष्य की दिशा में निरंतर अग्रसर है।
उन्होंने बताया कि शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क, खेल, पेयजल और हवाई कनेक्टिविटी के क्षेत्रों में राज्य ने उल्लेखनीय प्रगति की है।

राज्य सरकार की प्रमुख योजनाएँ जैसे —
एक जनपद दो उत्पाद”, “हाउस ऑफ हिमालयाज”, “स्टेट मिलेट मिशन”, “नई पर्यटन नीति”, “वेड इन उत्तराखण्ड” और “सौर स्वरोजगार योजना” — स्थानीय अर्थव्यवस्था में नई ऊर्जा भर रही हैं।


📊 राज्य की उपलब्धियाँ और सुशासन के प्रयास

मुख्यमंत्री ने बताया कि उत्तराखण्ड ने नीति आयोग की सतत विकास लक्ष्यों की रैंकिंग में देश में प्रथम स्थान प्राप्त किया है।
ईज ऑफ डूइंग बिजनेस” में “एचीवर्स” तथा “स्टार्टअप रैंकिंग” में “लीडर्स” श्रेणी हासिल करना राज्य के सुनियोजित प्रयासों का परिणाम है।

उन्होंने कहा कि राज्य में देश का सबसे सख्त नकल-विरोधी कानून लागू किया गया है और भ्रष्टाचार के विरुद्ध “जीरो टॉलरेंस” की नीति पर काम करते हुए चार वर्षों में 200 से अधिक भ्रष्टाचारियों को जेल भेजा गया है।

मुख्यमंत्री ने प्रवासी उत्तराखण्डियों से राज्य के इस विकास अभियान में सक्रिय भागीदारी का आह्वान किया।


👥 सम्मेलन में प्रमुख प्रवासी व्यक्तित्वों की भागीदारी

कार्यक्रम में कई प्रतिष्ठित प्रवासी उत्तराखण्डी उपस्थित रहे।

  • श्री भगत सिंह कोश्यारी, पूर्व मुख्यमंत्री एवं महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल ने कहा कि उत्तराखण्ड का व्यक्ति देश-विदेश में अपनी प्रतिभा, कर्मठता और ईमानदारी से कार्य करता है।

  • श्री मोहन सिंह बिष्ट, दिल्ली विधानसभा के उपाध्यक्ष, ने कहा कि उत्तराखण्ड हमारी आत्मा और संस्कृति की धरोहर है।

  • श्री सुधांश पंत, राजस्थान के मुख्य सचिव, ने कहा कि यह सम्मेलन हमारी मिट्टी, संस्कृति और अपनत्व का उत्सव है।

  • श्री पूर्णेश गुरूरानी, निदेशक, कपड़ा मंत्रालय, भारत सरकार, ने सुझाव दिया कि राज्य में टेक्सटाइल पार्क की स्थापना की जानी चाहिए।

  • प्रसिद्ध अभिनेत्री श्रीमती हिमानी शिवपुरी ने बताया कि उन्होंने रुद्रप्रयाग जनपद में अपने पैतृक गांव को गोद लिया है।


🏔️ राज्य विकास की दिशा में समर्पण

मुख्य सचिव श्री आनंद बर्द्धन ने कहा कि राज्य शिक्षा, स्वास्थ्य, पर्यटन, जैविक कृषि, औद्योगिक विकास और हरित ऊर्जा के क्षेत्र में निरंतर प्रगति कर रहा है। मुख्यमंत्री के नेतृत्व में इन्फ्रास्ट्रक्चर की मजबूती और सशक्त उत्तराखण्ड के निर्माण की दिशा में तेजी से कार्य जारी है।

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