अहमदाबाद: गुजरात में नकली अधिकारियों द्वारा ठगी के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। अहमदाबाद क्राइम ब्रांच ने हाल ही में 29 वर्षीय इंजीनियर मेहुल शाह को गिरफ्तार किया है, जो खुद को आईएएस अधिकारी और विभिन्न सरकारी विभागों का वरिष्ठ अधिकारी बताकर लोगों से लाखों रुपये ठग रहा था।
फर्जी दस्तावेज और नियुक्ति पत्र का खेल
पुलिस के अनुसार, मेहुल शाह ने अहमदाबाद जिला शिक्षा अधिकारी (डीईओ) के फर्जी नियुक्ति पत्र बनाकर एक युवक को सरकारी नौकरी का झांसा दिया। इतना ही नहीं, उसने खुद को एक स्कूल ट्रस्टी के रूप में पेश किया और स्कूल भवन की पेंटिंग का काम कराने के बाद 7 लाख रुपये का भुगतान नहीं किया।
लालबत्ती और फर्जी पहचान पत्र का इस्तेमाल
अपने झूठे प्रभाव को बढ़ाने के लिए आरोपी ने एक किराए की कार में सायरन और पर्दे लगवाए और ‘विज्ञान और अनुसंधान विकास विभाग’ के अध्यक्ष होने का फर्जी पत्र दिखाया। पुलिस ने उसके पास से केंद्रीय गृह मंत्रालय, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग और सड़क एवं भवन विभाग जैसे सरकारी संस्थानों के नाम पर बनाए गए फर्जी पहचान पत्र और दस्तावेज जब्त किए हैं।
लाखों की धोखाधड़ी और पुलिस कार्रवाई
शिकायतकर्ताओं ने बताया कि शाह ने सरकारी विभागों में नौकरी दिलाने, एनओसी जारी करने और वर्क परमिट दिलाने के नाम पर लाखों रुपये की ठगी की है। अहमदाबाद क्राइम ब्रांच के पीआई जेके मकवाना ने बताया कि आरोपी के खिलाफ अब तक तीन शिकायतें दर्ज हो चुकी हैं और अन्य पीड़ितों से भी सामने आने की अपील की गई है।
आरोपी की पृष्ठभूमि
मेहुल शाह मोरबी जिले के वांकानेर का निवासी है और दो स्कूलों का संचालन करता है। उसने फर्जी दस्तावेजों और सरकारी पहचान का उपयोग करके विभिन्न सरकारी विभागों के वरिष्ठ अधिकारी होने का दावा किया।
निष्कर्ष
फिलहाल आरोपी के खिलाफ धोखाधड़ी और जालसाजी के तहत कानूनी कार्रवाई की जा रही है। पुलिस ने जनता से अपील की है कि यदि किसी ने मेहुल शाह की ठगी का सामना किया हो, तो वे अपनी शिकायत दर्ज कराएं।