श्रीनगर, 9 जनवरी 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 13 जनवरी को जम्मू-कश्मीर में 6.5 किलोमीटर लंबी जेड मोड़ सुरंग का उद्घाटन करेंगे। यह परियोजना न केवल लद्दाख क्षेत्र को सभी मौसमों में कनेक्टिविटी प्रदान करने में अहम भूमिका निभाएगी, बल्कि आतंकवादियों को यह स्पष्ट संदेश भी देगी कि विकास कार्यों में कोई रुकावट स्वीकार नहीं की जाएगी।
सुरंग के उद्घाटन में शामिल होंगे कई दिग्गज नेता
इस कार्यक्रम में केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी, जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला भी उपस्थित रहेंगे।
आतंकवादी हमले के बाद भी नहीं रुका निर्माण कार्य
पिछले साल अक्टूबर में लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादियों ने सुरंग के कैंप पर हमला किया था, जिसमें सात मजदूरों की जान चली गई। इस हमले का उद्देश्य परियोजना को रोकना था। इसके बावजूद, परियोजना को निर्धारित समय में पूरा कर लिया गया, जो आतंकवाद के खिलाफ दृढ़ता का प्रतीक है।
परिवारों को विशेष आमंत्रण
इस परियोजना में मारे गए मजदूरों के परिवारों को उद्घाटन समारोह में आमंत्रित किया गया है। वरिष्ठ अधिकारियों ने बताया कि कुछ परिवार प्रधानमंत्री से मुलाकात भी कर सकते हैं।
रणनीतिक महत्व: सेना के लिए अहम कनेक्टिविटी
जेड मोड़ सुरंग नियंत्रण रेखा और वास्तविक नियंत्रण रेखा पर तैनात सुरक्षा बलों के लिए सैन्य सहायता प्रदान करने में अहम भूमिका निभाएगी। यह क्षेत्र, जहां 2020 में भारत और चीन की सेनाओं के बीच तनाव हुआ था, रणनीतिक दृष्टिकोण से अत्यंत महत्वपूर्ण है।
2400 करोड़ रुपये की लागत से बनी सुरंग
8,500 फीट की ऊंचाई पर स्थित जेड मोड़ सुरंग बर्फ से ढके क्षेत्रों को जोड़ने के लिए बनाई गई है। इस परियोजना पर 2400 करोड़ रुपये की लागत आई है। यह श्रीनगर-लेह राजमार्ग पर यातायात को सुगम बनाने के साथ-साथ लद्दाख क्षेत्र की आर्थिक और सामरिक कनेक्टिविटी को भी मजबूत करेगी।
कनेक्टिविटी में सुधार की दिशा में कदम
लद्दाख से सांसद मोहम्मद हनीफा जान ने कहा कि यह सुरंग क्षेत्र की कनेक्टिविटी को मजबूत करेगी और यह पीएम मोदी के विकासवादी दृष्टिकोण को दर्शाती है।
जोजिला सुरंग भी जल्द पूरी होने की उम्मीद
जोजिला सुरंग, जो सबसे ऊंचे दर्रे पर स्थित है, का काम भी प्रगति पर है। इसके पूरा होने के बाद लद्दाख क्षेत्र को पूरे वर्ष कनेक्टिविटी उपलब्ध होगी।
विकास कार्यों में देरी के पीछे कारण
सुरंग परियोजना के सार्वजनिक उद्घाटन में देरी जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनावों के दौरान लागू आचार संहिता और अक्टूबर 2024 के आतंकवादी हमले के कारण हुई।
आतंकवाद के खिलाफ कड़ा संदेश
प्रधानमंत्री की उपस्थिति आतंकवादियों को यह स्पष्ट संदेश देगी कि बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में कोई व्यवधान सहन नहीं किया जाएगा। यह परियोजना सुरक्षा बलों और स्थानीय जनता दोनों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।
एक नए युग की शुरुआत
जेड मोड़ सुरंग न केवल सामरिक दृष्टिकोण से, बल्कि स्थानीय अर्थव्यवस्था और क्षेत्रीय विकास के लिए भी मील का पत्थर साबित होगी। यह परियोजना भारत की विकास यात्रा में एक नया अध्याय जोड़ेगी।