देहरादून: उत्तराखंड जैसे पहाड़ी राज्य में इस बार गर्मी ने अप्रैल से ही अपने तेवर दिखाने शुरू कर दिए हैं। मौसम विभाग के अनुसार, आने वाले दिनों में तापमान में और तेजी आएगी और मई के पहले सप्ताह में गर्मी चरम पर होगी। कई शहरों में अप्रैल के महीने में ही तापमान 30 डिग्री सेल्सियस से ऊपर पहुंच गया है, जिससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि मई-जून में स्थिति और अधिक विकराल हो सकती है।
हीट वेव के दिनों में होगा इजाफा
देहरादून मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक विक्रम सिंह के मुताबिक, इस साल हीट वेव यानी लू के दिनों में वृद्धि हो सकती है। जब किसी क्षेत्र में तापमान औसत से काफी अधिक हो जाता है, तो उसे हीट वेव कहा जाता है। इस बार अधिक तीव्र और लंबे समय तक लू चलने की आशंका जताई जा रही है।
स्वास्थ्य पर बुरा असर डाल सकती है लू
गर्मियों के इस प्रचंड प्रकोप से स्वास्थ्य पर सीधा असर पड़ता है। देहरादून के वरिष्ठ गैस्ट्रोलॉजिस्ट डॉक्टर विपुल कंडवाल ने बताया कि अत्यधिक गर्मी मेटाबॉलिक सिस्टम को प्रभावित कर सकती है। हीट स्ट्रोक, चक्कर आना, थकावट और गंभीर मामलों में जान का खतरा भी बन सकता है।
धूप से कैसे बचें?
डॉ. कंडवाल की सलाह है कि दोपहर 1 बजे से 4 बजे तक धूप में निकलने से बचना चाहिए। यदि आवश्यक हो, तो सिर को कपड़े या छाते से ढकें ताकि सीधी धूप से बचा जा सके। इसके अलावा, हल्के और ढीले कपड़े पहनें ताकि शरीर को ठंडक मिलती रहे।
हाइड्रेशन है सबसे जरूरी उपाय
डॉक्टर का कहना है कि गर्मियों में शरीर को हाइड्रेट रखना सबसे जरूरी है। सिर्फ पानी ही नहीं, बल्कि जूस, ओआरएस, छाछ और नारियल पानी जैसे तरल पदार्थों का सेवन भी करें। एक सामान्य और स्वस्थ व्यक्ति को दिन भर में कम से कम 2 से 2.5 लीटर लिक्विड जरूर लेना चाहिए।
विशेष मरीजों के लिए अलग सलाह
डॉ. कंडवाल ने यह भी स्पष्ट किया कि हृदय रोगी और अन्य क्रॉनिक बीमारियों से पीड़ित लोगों को डॉक्टर की सलाह से ही तरल पदार्थों की मात्रा तय करनी चाहिए।
गर्मी के इस मौसम में थोड़ी सी सावधानी और सही जीवनशैली अपनाकर आप हीट वेव के दुष्प्रभाव से खुद को सुरक्षित रख सकते हैं।