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देहरादून: रोहित नेगी हत्याकांड के दोनों आरोपी मुठभेड़ में घायल, पुलिस ने 60 घंटे में किया गिरफ्तार

Dehradun: Both accused in Rohit Negi murder case injured in encounter, police arrested them within 60 hours

देहरादून, 6 जून 2025: भाजपा युवा मोर्चा के पूर्व मंडल अध्यक्ष रोहित नेगी की हत्या के मामले में पुलिस ने निर्णायक कार्रवाई करते हुए दोनों मुख्य आरोपियों को मुठभेड़ में पकड़ लिया है। यह मुठभेड़ मुजफ्फरनगर और मंगलौर की सीमा पर हुई, जिसमें दोनों आरोपी गोली लगने से घायल हो गए। उन्हें ऋषिकेश स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में भर्ती कराया गया है। मुठभेड़ के बाद पुलिस ने राहत की सांस ली है, क्योंकि मामले को लेकर लगातार जनदबाव और राजनीतिक आक्रोश बना हुआ था।

हत्या के 60 घंटे बाद बड़ी सफलता
3 मई की रात को देहरादून के प्रेमनगर थाना क्षेत्र अंतर्गत मांडूवाला में दो अज्ञात युवकों ने रोहित नेगी को गोली मार दी थी। घटना के बाद स्थानीय लोगों ने एफआईआर दर्ज कराने को लेकर पुलिस पर लापरवाही के आरोप लगाए थे। हालांकि, स्थिति की गंभीरता को देखते हुए एसएसपी अजय सिंह के निर्देश पर पुलिस की कई टीमों को पश्चिमी उत्तर प्रदेश, दिल्ली और हरियाणा में आरोपियों की तलाश में लगाया गया।

पुलिस को शुरुआती जांच में कोई पुख्ता सुराग नहीं मिल पाया क्योंकि दोनों आरोपी अजहर त्यागी और आयुष ने अपने फोन बंद कर दिए थे और अलग-अलग नंबरों से लोकेशन बदलते रहे। बावजूद इसके, पुलिस टीमों ने मैन्युअल निगरानी और आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल करते हुए अंततः दोनों को ट्रैक कर लिया।

मंगलौर बॉर्डर पर हुई मुठभेड़
आरोपियों के मूवमेंट की जानकारी मिलने के बाद पुलिस ने मुजफ्फरनगर और मंगलौर बॉर्डर पर घेराबंदी की। जब पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की, तो आरोपियों ने गोली चला दी। जवाबी कार्रवाई में पुलिस की गोलीबारी में दोनों आरोपी घायल हो गए। पुलिस ने उन्हें मौके से गिरफ्तार कर उपचार के लिए एम्स ऋषिकेश भेजा।

परिवार की भावनात्मक प्रतिक्रिया
रोहित नेगी की मां और बहन ने पुलिस की तत्परता की सराहना करते हुए कहा कि उन्हें न्याय की उम्मीद है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि आरोपियों को सख्त से सख्त सजा मिलनी चाहिए ताकि ऐसे अपराध दोबारा न हों। मां सोमबाला ने कहा कि आरोपियों के पैरों में नहीं, बल्कि सीने पर गोली मारी जानी चाहिए थी।

सांप्रदायिक तनाव की संभावना को लेकर सतर्कता
आरोपियों के एक खास समुदाय से होने के कारण पुलिस ने मुठभेड़ स्थल पर अतिरिक्त सुरक्षा व्यवस्था लागू की थी ताकि कोई सांप्रदायिक तनाव न फैले। पुलिस का कहना है कि संवेदनशीलता को ध्यान में रखते हुए ही हर कदम फूंक-फूंककर उठाया गया।

रोहित नेगी हत्याकांड को लेकर लगातार बढ़ते जनदबाव के बीच पुलिस ने जिस तेजी और कुशल रणनीति से कार्रवाई की, वह सराहनीय है। इस मुठभेड़ और गिरफ्तारी से न सिर्फ पीड़ित परिवार को राहत मिली है, बल्कि आम जनता में भी यह संदेश गया है कि अपराधियों को कानून से भागने का अवसर नहीं मिलेगा।

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